Compréhension de reportage


Contexte

Dans le cadre de sa lutte contre la corruption, le Premier ministre Narendra Modi déclara le 8 novembre 2016 les coupures de 500 et de 1000 roupies illégales le soir même à minuit. Il demanda à la population de ramener ces billets à la banque. S’en suivit un immense chaos, personne (pas même ses ministres) n’ayant été informé. Des nouvelles coupures de 2000 roupies (ce qui représente une somme conséquente pour les dépenses quotidiennes) furent mises en circulation, mais elles n’étaient pas compatibles avec les distributeurs de billets. Regardez ce reportage de la BBC1 (2 décembre 2016) sur les problèmes qui perduraient un mois après cette décision.

Compréhension orale

Compréhension écrite

नोटबंदी: सात समस्याएं जो अब तक कायम हैं

आठ नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ५०० और १००० के नोट बंद करने की घोषणा के बाद से ही लोगों को कई ऐसी परेशानियों का सामना करना पड़ा था, वो अब तक बदस्तूर जारी हैं।

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आइए डालते हैं एक नज़र ऐसी ही कुछ समस्याओं पर।

२००० का नोट- सरकार ने पुराने नोट बंद करने के बाद २००० के नए नोट लाने की घोषणा की थी, जो नोटबंदी के फ़ैसले के साथ ही बाज़ार में आ तो गए। लेकिन इसे लेकर सबसे बड़ी समस्या यह है कि इसे जल्दी कोई दुकानदार लेना नहीं चाह रहा है।

चूंकि ५०० और १००० रुपये के नोट बाज़ार में पर्याप्त नहीं है इसलिए इसके छुट्टे लेने में लोगों को ख़ासी तक़लीफ़ हो रही है।

एटीएम के बाहर लंबी क़तार- नोटबंदी के बाद जो सबसे बड़ी समस्या लोगों के सामने आई है, वो है एटीएम के बाहर लगने वाली लंबी-लंबी कतारें।

एक-दो घंटे लाइन में खड़े हुए बिना पैसे निकालने के बारे में तो सोचा भी नहीं जा सकता है। इसके अलावा पर्याप्त मात्रा में कैश नहीं होने की वजह से ज्यादातर एटीएम खाली डिब्बे बने हुए हैं।

पैसा जमा करने की लाइन- बैंकों में पुराने नोट के रूप में कैश जमा करने के लिए भारी भीड़ उमड़ रही है।

पैसा निकालने की मुसीबत- बैंक से पैसा निकालने के लिए भी एटीएम की तरह ही लंबी-लंबी लाइनों में खड़ा होना पड़ रहा है।

ख़राब नोट की समस्या- ख़राब नोटों को पहले वापस लेकर उनकी रिसाइक्लिंग की बात कही गई थी। लेकिन कैश के अभाव में उन्हें भी बैंकों की ओर से दिया जा रहा है. ऐसे नोटों को लेने से लोग और दुकानदार आनाकानी करते हैं।

नोटबदली का बंद होना- साढ़े चार हज़ार तक के नोट बदलने का फ़ैसला भी अब वापस ले लिया गया है। अब सिर्फ़ बैंक में पैसे जमा किए जा सकते हैं।

पेट्रोल पंप, टोल पर पुराने नोट बंद- पेट्रोल पंप पर पुराने नोट लेने की सुविधा दी गई थी, उसे अब दो दिसंबर से बंद करने की घोषणा हो चुकी है। इससे पहले पुराने नोटों को इस्तेमाल करने की समय सीमा १५ दिसंबर थी।


1 Les mots colorés sont anglais.